डोईवाला / देहरादून:
प्रभा भट्ट
आदर्श औद्योगिक स्वायत्तता सहकारिता डोईवाला की अध्यक्ष श्रीमती आशा कोठारी ने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड से निकलने वाली मोक्षदायिनी मां गंगा, केवल नदी नहीं है, बल्कि करोड़ों श्रद्धालुओ की आस्था का केंद्र भी हैl मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में देवभूमि उत्तराखंड में मां गंगा की स्वच्छता व निर्मलता को बनाए रखने के लिए लगातार अभियान चलाया जा रहा है, उत्तराखंड मे मां गंगा पूरी निर्मलता के साथ जीवनदायनी बनी हुई हैl
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पूरे देश में वही देवभूमि उत्तराखंड में मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में सरकार मां गंगा को स्वच्छ व निर्मल रखने का अभियान चलाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि मां गंगा हमारी संस्कृति, हमारी धरोहर है, अतः इसका संरक्षण और संवर्धन करना हर नागरिक का कर्तव्य है। यदि हम सभी नदियों को प्रदूषित होने से बचाएंगे तो प्रदूषण भी कम होगा और नदी के जलीय जीवों की रक्षा भी होगी। इससे पर्यावरण को होने वाले नुकसान से बचाया जा सकेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू की गई नमामि गंगे योजना करोड़ों लोगों की अपेक्षाओं पर खरा उतर रही है और गंगा को प्रदूषण मुक्त करने के लिए सतत प्रयास जारी है। इस मौके पर आदर्श संस्था के सचिव हरीश कोठारी, गिरीश भट्ट, सुषमा कोठारी, मंजू कोठारी, दिनेश कक्कड़ आदि ने भी मां गंगा वह अन्य सहायक नदियों को स्वच्छ रखने के लिए निरंतर अभियान चलाने का आवाहन भी कियाl
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कार्यक्रम निदेशक नमामि गंगे श्री रणवीर सिंह चौहान ने बताया कि गंगा किनारे पहली बार वृहद स्तर पर गंगा उत्सव का आयोजन किया गया है। इससे पहले यह आयोजन दिल्ली में आयोजित किया जाता था। इसका मकसद गंगा का संरक्षण, संवर्धन करना तथा लोगों में जन जागरूकता पैदा करना है , ताकि लोग गंगा में गंदगी ना फैलाएं । गंगा को स्वच्छ रखा जा सके, इसके अंतर्गत गंगा तटीय नगरों में एसटीपी प्लांट लगाए गए हैं, जगह-जगह शवदाह ग्रह भी बनाए गए हैं, ताकि लोग गंगा में शवों को ना जलाएं। कई जगह सीवर लाइन भी बिछाई गई है। ताकि घरों का गंदा जलमल सीधा गंगा में ना गिरे, जो पाइप लाइनों के माध्यम से एसटीपी प्लांट तक पहुंचाया जा रहा है और वहां प्रदूषित जल का शोधन किया जाता
है। उत्तराखंड में ऋषिकेश तक A श्रेणी ( पीने योग ) और हरिद्वार तक B श्रेणी ( स्नान योग्य ) है ।
गंगा तटीय गांवों में जगह-जगह शौचालय बनाए गए है, गंगा तट के गांव को शौच मुक्त (ओडीएफ) घोषित किया गया है। इन गांवों को खुले में शौच मुक्त बनाने के लिए सरकार लगातार अभियान चला रही हैl आम जन मानस को इस अभियान से जोड़ने के लिए 40 कॉलेजों को सूचीबद्ध किया गया है ।
___________________________नमामि गंगे के संचार विशेषज्ञ श्री पूरन कापरी ने बताया कि देवभूमि उत्तराखंड के गोमुख से लेकर हरिद्वार तक मां गंगा को स्वच्छ बनाने के लिए सरकार निरंतर कार्य कर रही है, केंद्र व राज्य सरकार के सहयोग से मां गंगा को स्वच्छ बनाने के लिए लगातार अभियान चलाकर कार्यक्रम भी किया जा रहा हैl इसके लिए जन सहभागिता भी जरूरी हैl